अमरोहा : एंटी करप्शन टीम ने 60 हजार रुपये लेने वाले अमरोहा के जेई भानु प्रताप सिंह और बिचौलिया शादाब को गिरफ्तार कर लिया। आरोप है कि जेई भानु ने प्लॉट का नक्शा स्वीकृत करने के बदले 60 हजार रुपये मांगे थे। शिकायत पर एंटी करप्शन की कार्रवाई के दौरान दोनों को रंगे हाथ पकड़ लिया गया। एंटी करप्शन ने जेई और बिचौलिया को गिरफ्तार कर अमरोहा नगर कोतवाली के हवाले कर दिया है। जहां आरोपियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की जा रही है।

आपको बता दें कि एंटी करप्शन की कार्रवाई के बाद जिले के अधिकारियों और कर्मचारियों में हड़कंप मचा हुआ है। अमरोहा के मोहल्ला बाजार जट में कारोबारी इमरान पाशा का परिवार रहता है। उनका मोहल्ले में ही स्टेट बैंक की मुख्य शाखा के पास 48 गज का प्लाट है। इमरान पाशा को दुकान बनानी थी, इसलिए उन्होंने दुकान का नक्शा स्वीकृत कराने के लिए छह माह पहले एक्सचेंज एरिया कार्यालय में आवेदन किया था।

आपको बता दें कि एंटी करप्शन की कार्रवाई के बाद जिले के अधिकारियों और कर्मचारियों में हड़कंप मचा हुआ है। अमरोहा के मोहल्ला बाजार जट में कारोबारी इमरान पाशा का परिवार रहता है। उनका मोहल्ले में ही स्टेट बैंक की मुख्य शाखा के पास 48 गज का प्लाट है। इमरान पाशा को दुकान बनानी थी, इसलिए उन्होंने दुकान का नक्शा स्वीकृत कराने के लिए छह माह पहले एक्सचेंज एरिया कार्यालय में आवेदन किया था।
आरोप है कि विनियमित क्षेत्र के जेई भानु प्रताप सिंह नक्शा स्वीकृत करने की एवज में 60 हजार रुपये की मांग कर रहे थे। रुपये न देने पर उन्होंने नक्शा स्वीकृत नहीं किया और बहाने बनाते रहे। विनियमित क्षेत्र के जेई भानु प्रताप सिंह के लगातार उत्पीड़न से परेशान होकर व्यापारी इमरान पाशा ने एंटी करप्शन मुरादाबाद कार्यालय में शिकायत दर्ज कराई।
शिकायत को गंभीरता से लेते हुए एंटी करप्शन की दो टीमें मंगलवार को अमरोहा पहुंची। इस दौरान जेई तहसील स्थित अपने कार्यालय में बैठे थे। जेई ने व्यापारी इमरान पाशा से मधुरम बैंक्वेट हॉल के पास फोटो स्टेट की दुकान चलाने वाले शादाब को 60 हजार रुपये देने को कहा। इस बीच एंटी करप्शन की दोनों टीमों ने जेई और बिचौलिए शादाब को पकड़ने के लिए अपना जाल बिछा दिया। इमरान पाशा ने बिचौलिए शादाब को उसकी दुकान पर 60 हजार रुपये दिए।
इसके बाद शादाब ने जेई भानु प्रताप सिंह को हैंड्स फ्री फोन करके पैसे मिलने और इमरान पाशा का काम करने की बात कही। कॉल कटते ही एंटी करप्शन की टीम ने बिचौलिए शादाब को पकड़ लिया। वहीं दूसरी टीम ने तुरंत जेई भानु प्रताप सिंह को गिरफ्तार कर लिया।
इस दौरान जेई भानु प्रताप एंटी करप्शन की टीम के सामने गिड़गिड़ाने लगा और आरोप को झूठा बताया। बाद में टीम दोनों को गिरफ्तार कर थाने ले आई। यहां दोनों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की कार्रवाई की जा रही है। जेई भानु प्रताप सिंह मूल रूप से गाजियाबाद के कविनगर इलाके के रहने वाले हैं। जबकि बिचौलिया शादाब अमरोहा शहर के जलालाबाद का रहने वाला है।
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