देहरादून, 3 मार्च। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने पंचायती राज विभाग के 8 सहायक लेखाकारों तथा 342 ग्राम पंचायत विकास अधिकारियों को नियुक्ति पत्र प्रदान किए।
सहायक लेखाकारों का चयन लोक सेवा आयोग तथा ग्राम पंचायत विकास अधिकारियों का चयन अधीनस्थ सेवा चयन आयोग के माध्यम से किया गया है।
मुख्यमंत्री ने सभी चयनित कार्मिकों को शुभकामना देते हुए कहा कि नियुक्ति पाने वाले लेखाकार एवं ग्राम पंचायत विकास अधिकारी हमारी लोकतांत्रिक व्यवस्था के प्राथमिक इकाई ही नहीं इसकी नींव के समान है। पंचायती राज व्यवस्था जितनी सशक्त होगी हमारा लोकतंत्र भी उतना ही मजबूत होगा, तभी सुराज की परिकल्पना भी साकार हो सकेगी। उन्होंने कहा कि समाज के अंतिम छोर पर खड़े व्यक्ति की परेशानी, उसकी शिकायत को सरकार तक पहुंचाने और सरकार द्वारा किए जा रहे लोक कल्याणकारी कार्यों को जन-जन तक पहुंचाने में आप सभी की महत्वपूर्ण भूमिका रहती है।
उन्होंने कहा कि भारत की आत्मा गांवों में बसती है लेकिन, पूर्व में इस ओर ध्यान नहीं दिया गया तथा विकास की दृष्टि से गांवों को सबसे निचले पायदान पर रखा गया और गांवों के लिए जो पैसा भेजा जाता था, वह वहां तक नहीं पहुंच पाता था, परंतु प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व वाली सरकार ने इस स्थिति को पूरी तरह बदल दिया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी सरकार गांवों के विकास के लिए हर वह कार्य कर रही है, जो पूर्व में इच्छाशक्ति के अभाव में नहीं हो पाए। उन्होंने कहा कि अगर हमारे युवा अपने गांवों के उत्थान की भावना के साथ गांवों के विकास के लिए समर्पित रहेंगे, तो गांवों के विकास में कोई भी बाधा नहीं आ सकती है। उन्होंने कार्मिकों से अपील की कि आप गांवों को अपना घर समझकर कार्य करें, ताकि गांवों के विकास को पंख लग सके।
मुख्यमंत्री ने कहा कि पहले भर्ती परीक्षाओं में पारदर्शिता का अभाव था, परन्तु हमने भर्ती परीक्षाओं में पारदर्शिता लाने का कार्य किया तथा राज्य में देश के सबसे कठोर “नकल विरोधी कानून बनने के बाद पारदर्शिता के साथ ही अब समयबद्ध तरीके से परीक्षाएं संपन्न हो रही है। उन्होंने कहा कि यह नकल विरोधी कानून का ही प्रतिफल है कि हम हर रोज अलग अलग विभागों में योग्य युवाओं को नियुक्ति पत्र प्रदान कर उन्हें रोजगार देने का कार्य कर रहे हैं।