लखनऊ : प्रयागराज महाकुंभ को लेकर विपक्ष द्वारा लगाए जा रहे आरोपों का जवाब देते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि ‘मैं आज के समाजवादियों के बारे में जानता हूं, जिस थाली में खाते हैं, उसी में छेद करते हैं।’ मुख्यमंत्री ने कहा कि ‘सपा अध्यक्ष ने कहा कि उन्हें अकबर के किले में लगे वट वृक्ष अक्षय वट का नाम भी नहीं पता।’ सपा के सोशल मीडिया हैंडल से पता चलता है कि उनके मूल्य सभ्य समाज के अनुकूल नहीं हैं।
मुख्यमंत्री विधानसभा में संग्राम सिंह यादव, आरके वर्मा और आराधना मिश्रा मोना के सवालों का जवाब दे रहे थे। अपने संबोधन में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि भगदड़ से प्रभावित सभी लोगों के साथ हमारी संवेदनाएं हैं। सरकार पीड़ितों के साथ खड़ी है, लेकिन इस पर राजनीति करना ठीक नहीं है। मनोज पांडेय को धन्यवाद देते हुए योगी ने कहा कि उन्होंने सही तथ्य पेश किए हैं। इस दौरान मुख्यमंत्री का शायराना अंदाज भी देखने को मिला। सीएम योगी ने कहा… उनकी जुबान का जादू बड़ा हसीन है, वो बहारों की बात करते हैं, जो रातों को बस्तियां लूटते थे, वो बहारों की बात करते हैं..! योगी ने कहा कि हर अच्छी चीज का विरोध करना समाजवादी पार्टी का पुराना काम है। महाकुंभ एक शब्द नहीं, सनातन का पर्व है। CM Yogi Adityanath
योगी ने पैसे की बर्बादी वाले बयान पर सपा को घेरा। उन्होंने लालू प्रसाद यादव और ममता बनर्जी के बयानों की भी निंदा की। मुख्यमंत्री ने कहा कि अगर सनातन का सम्मान करना अपराध है तो हमारी सरकार ये अपराध करती रहेगी। उन्होंने कहा कि मोहम्मद शमी ने भी कुंभ में स्नान किया। आस्था की डुबकी लगाई। हम सबका स्वागत करते हैं। हां, जो चिढ़ाने आते हैं, उन्हें भी डांटकर भगा दिया जाता है। ये लोग पहले दिन से ही महाकुंभ का विरोध कर रहे थे। पिछले सत्र में हम चर्चा कराने को तैयार थे, लेकिन उन्होंने चर्चा में हिस्सा नहीं लिया और भाग गए। सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने सबसे पहले बयान दिया कि इतना पैसा खर्च करने और इतना विस्तार करने की क्या जरूरत है? सपा के सोशल मीडिया हैंडल देखें तो वहां की भाषा उनके संस्कारों को दर्शाती है। यह भाषा किसी सभ्य समाज की नहीं हो सकती।
सीएम योगी ने सपा प्रमुख अखिलेश यादव को आड़े हाथ लेते हुए कहा कि ये लोग अकबर का किला तो जानते हैं, लेकिन अक्षयवट और सरस्वती कूप नहीं जानते। इनका बयान है कि जो सरकार हर दिन स्नान करने वालों का आंकड़ा दे रही है, उसे मरने वालों का सही आंकड़ा भी बताना चाहिए? इनके सहयोगी लालू प्रसाद यादव को महाकुंभ बेकार लगता है। सीएम योगी ने कहा कि इनके एक सहयोगी कहते हैं कि महाकुंभ मृत्युकुंभ है। इनकी एक नेता जया बच्चन ने कहा है कि शवों को गंगा में फेंक दिया गया। इससे पानी प्रदूषित हो गया है। ये बयान सपा के सहयोगी दल राजद, टीएमसी और अन्य के हैं। क्या सनातन के कार्यक्रम को भव्यता के साथ आयोजित करना अपराध है? शुरू से विरोध कर रहे समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष चुपचाप जाकर डुबकी लगा गए। CM Yogi Adityanath
सीएम योगी ने कहा कि हमें आपके दुष्प्रचार से कोई फर्क नहीं पड़ता, क्योंकि हम जानते हैं कि आप क्या सोचते हैं। संक्रमित व्यक्ति का कोई इलाज नहीं है। वह अपने आप ही कुढ़ता रहेगा। एक महान कार्य को तीन चरणों से गुजरना पड़ता है। उपहास से, विरोध से और अंत में स्वीकारोक्ति से। स्वीकारोक्ति का इससे बड़ा प्रमाण क्या हो सकता है कि विरोध कर रहे समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष चुपचाप जाकर डुबकी लगा गए। आपने चुपचाप कोविड का टीका लगवा लिया, आप दूसरों से कहते थे कि टीका मत लगवाओ, यह भाजपा का टीका है। मैं अध्यक्ष जी से अनुरोध करूंगा कि कृपया सभी सदस्यों को महाकुंभ में डुबकी लगवाने दें। महाकुंभ में संयुक्त सत्र होना चाहिए। कुंभ मेले पर पैसे की बर्बादी पर मुख्यमंत्री ने कहा कि हमने प्रयागराज शहर के अंदर 14 फ्लाईओवर और नौ पक्के घाट बनवाए हैं। मॉरीशस के प्रधानमंत्री 2013 में कुंभ आए थे। गंगा में गंदगी देखकर वह कुंभ की स्थिति देखने गए थे। संगम का पानी पूरी तरह स्नान के लिए उपयुक्त है। सिर्फ कुंभ-महाकुंभ को बदनाम करना साजिश का हिस्सा है।